गांव की जवान कुंवारी चूत-3

पिछला भाग पढ़े:- गांव की जवान कुंवारी चूत-2

तो दोस्तों आपने पिछले पार्टस में जाना कि कैसे‌ रोड साईट पर एक लड़की से मुलाकात हुई और फिर पटा कर उसकी खेत में चुदाई करता था। उसकी मां को शक होने की वजह से हमने डिसाइड किया कि अब हम खेत में ना मिल कर उसके रूम में मिलेंगे, जब सब सो जायेंगे। अब आगे की सेक्स कहानी-

वह हर रात वीडियो कॉलिंग पर बिना कपड़ों में बात करती थी। फिर अगले हफ्ते हम उसके मम्मी और पापा के सोने का इंतजार करते थे, और करीब 10-11 बजे रात में सब सो जाते थे, तब वो मुझे काल करती थी। 15-20 मिनट लगते थे उसके घर पहुंचने में।

उसके घर के पास पहुंचने के बाद मैं उसको काल करके सब के सोने का कंफर्म करने के बाद, उसके घर के बाहर ही चप्पल निकाल कर गया। क्योंकि रात की वजह से चप्पल की आवाज बहुत सुनाई दे रही थी। वो दरवाजा खोल कर रखी थी, तो मैं सीधा उसके रजाई में घुस गया, और हम गले लग कर किस करने लगे।

वो इतनी कामुक थी कि ऐसा लगता था वर्षों की प्यासी हो। वो मेरी जीभ अपने मुंह में भर ली, और लगातार 10-15 मिनट स्मूच करने के बाद वो खुद ही पहले अपने कपड़े निकाल कर नंगी हो गई, और मुझे भी नंगा कर दी। मुझे चूची पीना बहुत अच्छा लगता है, तो मैं सीधा एक चूची को जोर-जोर से दबाते हुए और दूसरे चूची के निप्पल को अपने मुंह में भर कर खींचते हुए बारी-बारी से चूसने लगा।

10-15 मिनट तक चूचियों की चुसाई के बाद उसकी नाभि को किस करते हुए नीचे बुर पर पहुंच गया। बुर पर हल्के-हल्के बाल थे, लेकिन मुझे बाल वाली बुर पसंद नहीं हैं। तो बुर के ऊपर-ऊपर किस करके बुर में उंगली डाल दी, और धीरे-धीरे आगे-पीछे करने लगा। उसकी चूत गीली हो गई थी, तो उंगली आसानी से अन्दर-बाहर आ-जा रही थी।

उसने अपनी आंखें बंद कर ली, और वह अपनी चूत में मेरी उंगली का अहसास कर रही थी। मैंने दूसरी उंगली भी अन्दर कर दी। इस बार मेरी उंगली उसकी बच्चेदानी में जाकर लगी, तो उसको थोड़ा दर्द हुआ।

वह कराह उठी: आह कितनी अन्दर कर रहे हो! बड़ी सनसनी हो रही है।

मैं थोड़ी देर तक उसकी चूत में उंगली को अन्दर-बाहर करता रहा। इससे वो मदहोश हो गई, और चुदाई के लिए पागल हो गई। वह बार-बार अपनी गांड उठाने लगी, और अपने हाथों से अपने मम्मे दबाने लगी। जिस तरह से वह मुझे देख रही थी, और आवाजें निकाल रही थी, उससे मेरे अन्दर भी वासना का तूफान उमड़ने लगा।

थोड़ी देर बाद मैंने उसे लंड को मुंह में लेने के लिए बोला, तो तैयार हो गई, और एक-दम एक्सपर्ट की तरह चूसने लगी। मेरे पूछने पर उसने बताया कि वो ब्लू फिल्म में देखी थी लंड चूसते हुए। वो लौड़ा मुंह में लेकर अन्दर-बाहर करने लगी। मैं उसका सर पकड़ कर लंड चुसवाने लगा। लंड चुसवाने में इतना मज़ा आ रहा था, कि मेरे सब्र का बांध टूट गया, और मैं उसके मुंह में झड़ गया।

उसने वीर्य को बाहर थूक दिया। मैं फिर से उसका सर पकड़ कर लंड चुसवाने लगा। थोड़ी देर में लौड़ा खड़ा हो गया। मैंने उसको लिटाया और उसकी चूत को चूसने लगा। चूत में से नमकीन स्वाद आ रहा था।

अपनी चूत चुसवाने के बाद वह बोली: अब रहा नहीं जाता।

प्लीज मुझे चोदो। मैंने लंड चूत पर सैट किया, और एक धक्का दे मारा। मेरा आधा लंड अन्दर चला गया। उसको दर्द हो रहा था। मैं थोड़ा रुक गया, और उसके बूब्स चूसने लगा। थोड़ी देर बाद उसका दर्द कम हुआ, तो मैंने एक धक्का और मारा। मेरा पूरा लंड चूत में चला गया। उसकी बुर बहुत टाइट थी, लेकिन लौड़े ने उसकी चूत को ढीला कर दिया था।

अब धीरे-धीरे मैं उसको चोदने लगा। वह कामुक सिसकारियां ले रही थी। थोड़ी देर बाद मैंने स्पीड बढ़ा दी, और अब तो वह पागल सी हो गई थी। मैं उसको धक्का-पेल चोदता रहा, और उसका पानी बहता रहा। पूरे रूम में थप-थप की आवाजें हो रही थी, और साथ ही मैं जोर-जोर से सांस भी ले रहा था। मेरी सांसें इतनी तेज थी, कि वो बार-बार मेरी नाक दबा देती थी।

चुदाई के साथ-साथ उसकी चूचियों को बारी-बारी से पीता रहता था। फ़िर मैंने उसको घोड़ी बनने को बोला, और पीछे से चुदाई की। हम दोनों ने काफी देर तक चुदाई की। वह मुझे अपने सीने से चिपका कर मुझे चूमने लगी, और मेरे मुंह में अपना मुंह लगा कर सेक्स का मजा लेने लगी। दस मिनट तक मैंने उसको बिना रुके चोदा। फिर मैं झड़ने वाला हो गया था।

मैंने उससे पूछा: कहां निकालूं?

उसने कहा: मुझे अन्दर ही लेना है।

मैंने तीन-चार जोर से झटके दिए, और मेरा रस उसकी चूत में ही निकल गया। हम दोनों चिपक कर लेटे रहे। कुछ देर बाद हम दोनों उठे और फिर शुरू हो गए। अब हम दोनों थक कर सो गए। जब आंख खुली तब देखा कि 2 बज गए थे।

मैंने उसे जगाया और उसको फिर से चोदा। कुल मिला कर हम 3 राउंड चुदाई किए।

फिर हम अपने कपड़े पहन कर वहां से निकल गये, और अपने रूम पर आ गये। अब हफ्ते में दो दिन उसके घर जाकर चुदाई करने लगा। वो इतना सेक्सी थी, और मुझे डेली आने को कहती थी। लेकिन डर की वजह से कि कहीं पकड़े गए तो जान से मार देंगे, इसलिए दिन बदल-बदल कर जाने लगा। सच पूछो तो मुझे भी डेली करने का मन करता था, लेकिन दूर होने की वजह से नहीं जाता था। बाईक था, लेकिन कहां खड़ा करता, इसलिए पैदल जाता था। फिर एक दिन मेरा रूममेट छुट्टी में जा रहा था।

तो मैं उसको बोला: तुम मेरे रूम में आ जाओ।

वो बोली: कैसे आऊंगी? मम्मी-पापा जागे, और रूम में चेक कर लिए तो?

तो मैं उसको रजाई या तकिया रख कर आने को बोला। बहुत मनाने पर वो मेरे रूम में आने के लिए मान गई। उसका घर बिल्कुल रोड के किनारे था, तो मैं बाइक से गया, और उसके घर से 500 मीटर आगे चला गया, और फिर फोन करके रोड पर खड़े रहने को बोला। फिर मैं वापस आया और उसके घर के सामने रोक कर उसको बाइक पर बिठाया, और वहां से निकाल लाया। वो मेरे रूम में पहुंचते ही खुद नंगी हो गई, और मुझे उसकी यही चीज बहुत पसंद थी। मैं पहले ही खिड़की को चादर से ढक दिया था, तांकि बाहर ना दिखे।

फिर उसने मेरे कपड़े उतारे और हम नंगे ही गले लगे। वह प्यार से मुझे किस करके बिस्तर पर लेट गई। हम पूरे नंगी थे, हमारे शरीर पर एक भी कपड़ा नहीं था। वो मेरे कहने पर बुर के बाल को साफ़ करके आई थी। एक भी बाल नहीं था। मुझे क्लीन शेव बुर बहुत पसंद है।

उसकी जांघों को मैंने खूब अच्छे से चाटा, हाय एक-दम साफ़ चूत थी उसकी। मैंने छू कर देखा तो जैसे तप रही थी। बिल्कुल रुई के जैसी नर्म, लेकिन बहुत गर्म। फिर हम दोनों होंठों से होंठ मिलाए हुए किस करने लगे, और हमारी जीभ आपस में लड़ रही थी। मैंने उसकी एक चूची को हाथ से मसला, तो वह आह कर उठी।

फिर बोली: दूध पियो ना।

मैंने कहा: चल तू अपने हाथ से पिला।

मेरे सर को उसने अपने मम्मों पर दबाया और दूध चुसवाने लगी। मैंने उसकी चूची को पूरा अपने मुंह में भर लिया और खींचते हुए चूसने लगा। वह आह आह कर रही थी। कुछ देर तक मैंने दोनों चूचियों को जीभर कर चूसा।‌ वो मदहोश हो गई, और मछली की तरह तड़पने लगी। तो मैं उसको बोला।

मैं: आज लेलो, क्या पता फिर मौका मिले ना मिले।

यह कहते ही मैंने लंड उसके होंठों पर रख दिया, और वो जीभ से टोपे को चाटने लगी, और मुंह में फिर से लेकर चूसने लगी। मैंने उसे 69 में किया, और उसकी चूत चाटने लगा। फिर उसकी चूत पर धीरे से अपना लंड रगड़ने लगा।‌

वह पागल होने लगी और कहने लगी: अब अन्दर डाल दो प्लीज, जल्दी से डालो।

उसकी आंखें वासना से भर गई थी।

मैंने भी धीरे से उसकी चूत में लंड डाल दिया। लंड पेलते ही ऐसा लगा कि जैसे जलती हुई भट्टी में लौड़े को डाल दिया हो, और वह मेरे लौड़े को अपनी ओर खींच रही हो।

धीरे-धीरे करके मैंने पूरा लंड उसकी चूत में डाल दिया।

मिशनरी पोजीशन में उसकी दोनों जांघों के बीच मेरा लंड और उसकी चूत आपस में ठप्प-ठप्प की आवाज कर रहे थे। ऊपर उसके चूचे हिल हिल कर मेरा जोश बढ़ा रहे थे। वो आंखें बंद किये हुए होंठ दबा-दबा कर चुद रही थी, और मजे ले रही थी। मैंने लंड से चोदते हुए फोटो भी खींची थी।

अब वह नीचे से गांड उठा-उठा कर मेरा साथ दे रही थी। इस बार भी वह 2 मर्तबा झड़ गयी थी। मैं उसे जोर-जोर से चोदे जा रहा था। मैंने उसको बहुत देर तक चोदा। फिर बुर में अपना पानी गिरा दिया।

झड़ने के बाद भी मेरा लंड खड़ा था, क्योंकि मैं वायग्रा खाया था। मैंने उसे किस किया और उसे उल्टा लिटा दिया। अब मैंने पेट के नीचे 2 तकिये लगाए, तो उसकी चूत का छेद दिखने लगा। वह मना करती रही, मगर मैं नहीं माना, और पीछे से उसकी चूत चोदने लगा। उसे बहुत दर्द हुआ और मजा भी आया।

इस दूसरे राउंड में मैंने उसे 30 मिनट तक पूरी स्पीड से चोदा। अब वह बहुत थक चुकी थी। पर मुझे शुरू से ही उसकी गांड बहुत पसंद थी, तो मैं उसकी गांड मारने की तैयारी करने लगा।

वह मना करने लगी: उधर नहीं।

मैंने उसे मनाया कि: सब करते हैं, और मुझे तुम्हारी गांड बहुत पसंद है।

तो बोली: फिर कभी मार लेना।

हम दोनों चिपक कर सो गए। जब आंख खुली तब देखा कि 3 बजने वाले थे। मैंने उसे जगाया और उसको फिर से एक राउंड चोदा। फिर मैं कपड़े पहनने लगा, और उसको भी पहनने के लिए बोला, तो नहीं पहन रही थी।

मैं बोला: जल्दी करो, तुम्हें तुम्हारे घर छोड़ दूं, नहीं तो तुम्हारे घर वाले जाग जायेंगे तो लफड़ा हो‌ जायेगा।

तो बोली: मैं अब घर नहीं जाऊंगी, अब तुम्हारे पास ही रहूंगी।

एक पल के लिए तो मेरी फट गई कि ये क्या सच में नहीं जायेगी? वो सच में नहीं जा रही थी और बोल रही थी-

वो: मैं तुम्हारे साथ रहूंगी, जहां चाहो वहां ले चलो। लेकिन अपने घर नहीं जाऊंगी।

एक पल के लिए तो लगा जैसे पैरों के नीचे से जमीन खिसक गई। कुछ समझ में नहीं आ क्या हो रहा था?

मैं बोला: पागल हो गई हो। मेरी नौकरी चली जाएगी, और सुबह तुम्हारे घर पर हल्ला हो जायेगा। मैं शादी-शुदा हूं और बच्चे भी हैं।

वो फिर भी नहीं मान रही थी।

वो बोल रही थी: मैं कहां कह रही हूं कि अपने बीवी और बच्चों को छोड़ दो।

बहुत समझाने और मनाने के बाद वो जाने के लिए तैयार हुई। तब जाकर जान में जान आई। फिर मैं उसको बाइक से उसके घर से 500 मीटर पहले ही बाइक रोक कर पैदल उसके घर तक छोड़ कर वापस आ गया।

फिर हमारी फोन पर वीडियो कॉलिंग पर बात होती रही, और मैं हफ्ते में दो बार उसके‌ घर जाकर मजे करता रहा। फिर उसके घरवाले उसकी शादी तय कर दिए, लेकिन वो मेरे साथ भागने के लिए बोल रही थी। मैंने उसे बहुत समझाया कि तुम्हारे मां-बाप की कितनी बदनामी होगी, और मैं तुम्हें नहीं ले सकता, तब जाकर वो मानी। शादी के दिन तक मेरे साथ सेक्स करती रही, और फिर उस  प्रोजेक्ट से दूसरे प्रोजेक्ट में आ गया। लेकिन वो अभी भी मेरे सम्पर्क में हैं।

और इसी बीच 2 और लड़कियां मेरी गर्लफ्रेंड बनी थी, जो दूसरे गांव में हमारे गेस्ट हाउस से 10 किमी दूर की थी।

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