नमस्कार दोस्तों, मेरा नाम मनु है। मैं राजस्थान के जयपुर का रहने वाला हूं। मैं सेक्स कहानियों का नियमित पाठक रहा हूं, और आज भी यहां कहानियां पढ़ता हूं। मैं पहले आपको मेरे बारे में बता दूं। जैसा कि आपने ऊपर पढ़ा मेरा नाम मनु है, और मेरी उमर 20 साल है। मेरा कद 5’7″ है। मैं दिखने में थोड़ा सांवला हूं, लेकिन मेरी बॉडी शुरु से ही हॉट है। मैं स्मार्ट हूं, और मेरे औजार का साइज 8 इंच है। मेरा मानना है कि मेरा औजार किसी भी लेडी को संतुष्ट करने के लिए काफी है।
दोस्तों ये कहानी मेरे और मेरे सेक्सी मां के बीच की है, और ये कहानी आज से 20 दिन पहले की। सॉरी मैं आपको मेरी मां के बारे में बताना भूल गया। उनका नाम शारदा (बदला हुआ नाम) है। उनकी उमर 44 की है। वो दिखने में बिल्कुल कड़क माल लगती है। उनका फिगर 38-30-40 का है। दोस्तो ये मेरी पहली कहानी है। अगर कुछ गलती हो जाए तो माफ कर देना। अब मैं सीधा कहानी पर आता हूं।
मेरे परिवार में हम 4 सदस्य है, मेरे पापा जो बाहर काम करते है, मेरी मां जो घर पर काम करती है, और मेरी बड़ी बहन जिसकी उमर 25 साल है। वो अपनी कॉलेज पूरी कर चुकी है, और अब कंपटीशन की तैयारी करती है। और मैं अभी कॉलेज कर रहा हूं।
पिछले कुछ महीनो से मेरे पापा का काम धंधा नहीं चल रहा था, इसलिए वो घर पर ही रहते थे। पापा मम्मी डेली रात को चुदाई करते थे। मुझे इसलिए मालूम है, क्योंकि मेरे पास ही उनका कमरा था, तो रात को पापा जब भी मम्मी की चुदाई करते थे, मम्मी जोर-जोर से आह आह की आवाजें निकालती थी, जो मुझे साफ-साफ सुनाई देती थी।
पापा को घर आए 6 महीनो से अधिक हो गए थे। अब उनका जाना भी जरूरी हो गया था, क्योंकि सिर्फ पापा ही हमारा घर चलाते थे। फिर थोड़े ही दिन बाद पापा का फोन आ गया कि उनके लिए एक काम आया था, तो पापा बिना देर किए घर से कमाने के लिए चले गए।
दोस्तों आपको भी मालूम है एक औरत 40 के बाद और भी सेक्सी हो जाती है, और उसका मन ज्यादा सेक्स करने के लिए करने लगता है। जैसे कि मैंने बताया कि पापा को आए 6 महीने हो गए थे, और पापा मम्मी की डेली चुदाई करते थे, इसलिए मम्मी को भी अब चूदाई की लत लग गई थी।
यह महीना मार्च का था और सर्दी अभी पूरी तरह खत्म नहीं हुई थी। इसलिए हम अभी भी रात को कंबल ओढ़ के ही सोते थे। लेकिन अब सर्दी इतनी नहीं रही थी। इसलिए रात को पंखा चला कर सोते थे। काफी वक्त से मुठ मारने से मेरे लिंग का साइज और भी बड़ा हो गया है। मैं इससे पहले भी अपनी गर्लफ्रेंड के साथ सेक्स कर चुका हूं, और भी कई लड़कियों की चूत का भोसड़ा कर चुका हूं।
एक दिन की बात है। जब मैं अपने कमरे में पंखा चला कर मोबाइल में ब्लू फिल्म देख रहा था, और अपने ओजार को हिला रहा था, तभी अचानक से लाइट चली गई, और कमरे में अंधेरा हो गया। फिर मेरे को मालूम हुआ कि बाहर बारिश होनी शुरु हो गई थी, जिसके कारण लाइट चली गई।
उस समय टाइम 10 बज रहे थे। खैर मुझे क्या लेना था? मैं अपनी मस्ती में अपना ओजार हिला रहा था। तभी अचानक से मम्मी ने मेरे रूम का दरवाजा खोला। आज ही मैं अपने कमरे को लॉक करना भूल गया था। जैसे ही मम्मी ने मेरे रूम का दरवाजा खोला, मैं झट से कंबल के अंदर सर देकर सोने का नाटक करने लगा। फिर मम्मी थोड़ी देर मेरे को वही खड़ी होकर आवाज देने लगी, लेकिन मैंने कुछ नहीं बोला, और चुप-चाप सोता रहा। फिर मम्मी कमरे से चली गई।
फिर मैंने अपना मुंह बाहर निकाल कर देखा तो मां वहां से जा चुकी थी। लेकिन मेरे को ऐसा लगा कि मां ने मेरे को हिलाते हुए देख लिया था। मुझे अब डर भी लग रहा था।
फिर मैंने दोबारा वीडियो ऑन करके देखना चालू कर दिया, और हिलाने लगा। तब तक बारिश और भी तेज हो चुकी थी। फिर थोड़े टाइम बाद मां फिर से मेरे कमरे में आई, और मैं चुप-चाप सोने का नाटक करने लगा। मां ने मुझको आवाज दी कि उठ-उठ। फिर मैं नींद का नाटक करते हुए उठा और कहा-
मैं: क्या बात है मां? आप इतनी रात को क्यूं उठा रही हो?
तब उन्होंने कहा कि उनके कमरे में पानी टपक रहा था, और बाहर बिजली भी कड़क रही थी, जिससे उनको डर लगता है।
फिर उन्होंने कहा: मैं तुम्हारे पास ही सो जाती हूं।
मैं हमेशा रात को एक छोटा सा पेंट पहन कर सोता हूं। और उस दिन भी मैंने वहीं पहना हुआ था, और वो भी नीचे हो रखा था,क्योंकि मैं उससे पहले हिला रहा था। फिर अचानक से मां आ गई, इसलिए मैंने पेंट उपर नहीं किया, और वैसे ही रहने दिया। इतने में मेरी मां मेरी कंबल में आ गई। लेकिन मुझे डर लग रहा था कि अब पेंट को कैसे उपर करूं?
मैं चुपचाप ही आंखें खोल कर लेटा रहा। फिर अचानक से मां ने करवट ली, और अपनी गांड मेरी तरफ करके सो गई। करीब रात को 11:30 बजे लाइट और पंखा चालू हो गया। फिर बारिश के कारण मां को ठंड लगने लगी। तब वो कंबल में मुंह देकर सो गई। मुझे डर लगने लगा कि कहीं मां मेरे को इस हालत में ना देख ले। क्योंकि अभी मेरा ओजार पेंट से ही बाहर था।
फिर थोड़ी देर बाद उन्होंने कंबल को साइड कर दिया, और बिना कंबल के ही सोने लगी। लेकिन मैंने कंबल ओढ़ ली, और वो बाहर आ गई। फिर मैंने देखा कि उन्होंने ब्लाउज और नीचे पेटीकोट पहन रखा था। मां के बूब्स कुछ ज्यादा ही बड़े थे, जो कि उनके ब्लाउज में फिट नहीं आ रहे थे। मैंने देखा की आधे बूब्स ब्लाउज से बाहर निकले हुए थे, और उनका पेटीकोट भी घुटनों तक ही था।
अब गोरे-गोरे बूब्स देख कर मेरा लंड फिर से खड़ा होना शुरु हो गया, और उनकी गोरी-गोरी जांघें देख कर मेरा लंड बिल्कुल सख्त और टाइट हो गया, और साप की तरह फनफनाने लगा।
फिर मैंने थोड़ी सी हिम्मत करके उनके बूब्स पर हाथ रख दिया, और सोने का नाटक करने लगा। मां की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं हुई, इसलिए मैं थोड़ी और हिम्मत करके उनके बूब्स को सहलाने लगा, और बीच-बीच में दबा भी देता था। अब धीरे-धीरे मेरे अंदर हवस जागनी शुरु हो गई, और उधर से भी कोई हलचल नहीं थी।
लेकिन थोड़े टाइम में मां ने थोड़ी सी करवट ली। मुझे लगा मां उठ गई, और मैं चुप-चाप सोने का नाटक करने लगा। फिर थोड़े टाइम बाद मुझे लगा कि मां सो गई थी। फिर मैं अपना एक हाथ मां की जांघों पर फेरने लगा, और उनको सहलाने लगा। शायद मां उठ गई थी, क्योंकि उनके मुंह से सिसकियां निकल रही रही थी। लेकिन अब मुझे कोई डर नहीं था, क्योंकि अब मां भी गर्म होने लगे थी, और भी मेरा पूरा साथ दे रही थी।
फिर थोड़े टाइम बाद मैंने सहलाना बंद कर दिया, तो मां उठी, और मेरे कान में धीरे से कहा-
मां: रुक क्यों गए बेटा? अभी तो शुरु हुआ है।
इसके आगे क्या हुआ, वो आपको अगले पार्ट में पता चलेगा। सेक्स कहानी की फीडबैक ज़रूर दें।