बीवी की चुदाई पड़ोसी द्वारा-4

पिछला भाग पढ़े:- बीवी की चुदाई पड़ोसी द्वारा-3

ककोल्ड सेक्स कहानी के पिछले पार्ट में आपने पढ़ा कि अखिल ने नेहा को अच्छे से गरम कर दिया था, और अब वो उससे चुदवाने के लिए तैयार थी। फिर अखिल ने उसकी चूत में थोड़ा-थोड़ा करके पूरा लंड घुसेड़ दिया। अब आगे-

अखिल नेहा को अपने लंड के साथ कम्फ़र्टेबल देख मस्ती में आ गया, और अब ज़ोर-ज़ोर से नेहा के बूब्स पकड़ कर उसे चोदने लगा। नेहा अपनी चूत में अखिल के हर ज़ोरदार धक्का लगते ही कराहती आह ओह आह। अपनी वाइफ नेहा को अपनी आंखों के सामने हमारे पड़ोसी से चुदवाते देख मैं बहुत खुश हुआ।

हर धक्का आह आह आह की मधुर आवाज़ मेरे कानों में पूरी तरह भर रहा था और उसके साथ मेरे सामने सोफा पर अखिल के नीचे जब नेहा को धक्का दिया जाता, तो उसके उछलते हुए बूब्स का एक अलग ही नज़ारा था। अखिल ने भी चूस-चूस कर मेरी वाइफ के बूब्स को बिल्कुल सुजा दिया था, और नेहा के निप्पलों पर सूजन साफ़ दिख रही थी।

कुछ 20-25 मिनट तक नेहा को चोदने के बाद अखिल ने नेहा की चूत में अपना पूरा माल भर दिया।  अखिल ने लगभग 10-12 सैकंड तक मेरी वाइफ की चूत में पिचकारी मारी और कंडोम को भर दिया। चूत में से अपने लंड को पकड़ कर बाहर निकाल कर अखिल नेहा के साथ ही लेट गया। दोनों ही बहुत बुरी तरह से हांफते हुए मुझे देख रहे थे।

मैंने अखिल की लंड को पकड़ कर बहुत ध्यान से कंडोम उतारा और उसके कुछ समझने से पहले ही उसकी सारी लस्सी नेहा की बूब्स और पेट पर गिराई, और उसे नेहा की बूब्स पर हाथ से अच्छी तरह रगड़ दिया।

उस कंडोम में अखिल का थोड़ा सीमन अभी भी था, जिसे मैंने नेहा के निप्पल पर गिरा दिया, और जल्दी से अपने मुंह में निप्पल को भर कर चूसने लगा। अपनी वाइफ नेहा की निप्पल से किसी दूसरे आदमी के सीमन के स्वाद ने मेरे लंड पर जादू कर दिया, और अब मैं भी नेहा पर चढ़ गया, और जल्दी से अपने लंड पर एक कंडोम चढ़ा कर नेहा को पटक कर चोदने लगा।

नेहा की फुद्दी अखिल से चुदवा कर सूज गई थी, और मेरे चोदने से नेहा की एक बार फिर सिसकियां निकलने लगी आह आह ओह‌‌ ओह।‌ ज़्यादातर जब मैं नेहा को चोदता हूं, तब नेहा इस तरह से ज़ोर-ज़ोर से सिसकियां नहीं भरती। लेकिन आज मेरी यह बीवी अखिल से चुदवाने के बाद अपनी चूत में मेरे लौड़े के झटके बिल्कुल बर्दाश्त नहीं कर पा रही थी, और उसके मुंह से आह खह की मधुर आवाज़ निकल रही थी।

नेहा को उसकी आहों के साथ चोदने में बहुत मज़े आ रहे थे। अंदर से सूजी हुई उसकी फुद्दी‌ भी मेरी लंड को कस कर चूस रही थी। मैंने नेहा की फुद्दी में अपना माल छोड़ दिया। अब मैं भी नेहा के साथ ही लेट गया। मेरी वाइफ के दोनों तरफ दो आदमी नंगे लेटे हुए थे, और दोनों ने उसकी चूत में अभी अपने लंड को घुसा कर उसे अपनी चुदाई का मज़ा दिया था। हम दोनों ने ही मेरी वाइफ को नंगी करके चोद दिया था।

सोफे पर हम तीनों ही अखिल, नेहा, और मैं नंगे पड़े हुए थे। अब कुछ आराम मिल गया तो हम फ़्रैश हो गए थे। अखिल ने एक बार फिर नेहा की बूब्स पकड़ कर दबाते हुए निप्पल चूसना शुरू कर दिया, और मेरी वाइफ उसके बालों में उंगलियां घुमाती हुई मेरी तरफ देख रही थी। उसके चेहरे पर हवस साफ़ दिख रही थी, और मेरे लंड को पकड़ कर अपने मुंह में घुसाने को बोल कर नेहा ने अचानक ही हम दोनों से पूछा, “क्या तुम दोनो एक साथ मिल कर मुझे चोदोगे?”

हम दोनों ने एक-बार एक दूसरे को देखा। अखिल सोफे पर बैठ गया और नेहा उसकी तरफ मुंह करके उसकी गोद में बैठ गई। कुछ कोशिश और काफी सारी आहों के बाद नेहा अखिल के लंड पर चढ़ ही गई, और उसके लौड़े पर अपनी कमर आगे-पीछे कर खुद चुदने लगी। आगे अखिल उसके बूब्स दबा कर चूसने लगा। कुछ देर बाद मैं नेहा के पीछे आकर उसके चूतड़ों पर अपने लंड को हिलाते हुए अखिल के लंड पर दबाने लगा।

अपनी लंड पर मेरे लंड के दबाव से अखिल के लंड के साथ मिल कर मेरा लंड भी नेहा की फुद्दी में घुसने लगा। जैसे ही मैंने देखा कि नेहा की फुद्दी में मेरे लौड़े का टोपा घुस गया तो मैं अब धीरे-धीरे आगे-पीछे होकर आगे धकेलने लगा। मेरे इस तरह लौड़ा अंदर धकेलने से नेहा और अखिल दोनों मज़े से पागल हो गए।

आह आह करते हुए हम तीनों ही आहें भरने लगे। हालांकि इस तरह से हम नेहा को ज़ोर-ज़ोर से हिलाते हुए नहीं चोद पाए, लेकिन मेरे लंड पर मेरी वाइफ की चूत के अंदर रगड़ते हुए एक दूसरे आदमी के लौड़े की फीलिंग गजब थी।

अपना माल छोड़ कर मैंने नेहा को अखिल पर धकेलते हुए उसकी फुद्दी में से अपने लंड को पकड़ कर बाहर निकाल लिया, और उसके चूतड़ों पर अपने माल को फैलाया। नेहा भी अब झड़ने वाली थी, तो वह अखिल के लंड पर ज़ोर-ज़ोर से खुद को आगे-पीछे धकेल कर खुद को चुदवाने लगी।

अचानक मेरी वाइफ का पूरा बदन ऐंठ गया और नेहा ने एक बार ज़ोरदार तरीके से सिसकियां भरते हुए अपनी मलाई निकाल दी, जिससे अखिल का लौड़े पर कंडोम भी भर गया।

अखिल ने भी लगभग-लगभग उसके साथ ही झड़ गया था। हम पूरी तरह से हांफते हुए एक-दूसरे को देख कर हंसने लगे। नेहा ने अखिल को एक बार बाहों में लेकर एक किस्स दिया और फिर मेरे पास आकर मेरी बाहों में आ गई। मुझे नेहा को पकड़ कर अपनी बाहों में लेकर प्यार करता देख अखिल को चोदने को और दिलचस्पी हो रही थी।

मैंने कहा: भाई और चोदने का प्लान है क्या?

मेरी बात सुन कर अखिल ने नेहा को अपनी ओर खींच लिया और उसके बूब्स पकड़ कर चूसने लगा। जैसे ही वह नेहा को पीछे धकेल कर उसके सामने खड़ा हुआ, और फिर एक कंडोम निकालने लगा, तभी मैंने उसका हाथ पकड़ लिया, और नेहा की फुद्दी पर उंगली रगड़ते हुए उन्हें बोला-

मैं: इस बार बिना कंडोम ही कर लो। मैं अपनी वाइफ को तुम्हारे सीमन के साथ चोदना चाहता हूं।

नेहा कुछ बोलती उसके पहले ही अखिल ने नेहा की फुद्दी में अपने लौड़े को घुसा दिया, और एक-दम से किसी जंगली जानवर की तरह अपनी कमर आगे-पीछे हिलाने लगा। नेहा की फुद्दी में से खच्च फच्च खच्च की आवाज़ आई, और उसने ज़ोर-ज़ोर से आहें भरनी शुरू कर दी। जल्दी ही नेहा ने अपनी गांड की तरफ इशारा करते हुए मुझसे कहा कि उसके नीचे देखूं।

मैंने नेहा के चूतड़ों को ध्यान से देखा, तो लगातार खच्च फच्च खच्च फच्च करते अखिल के लौड़े से सफेद लस्सी जैसी झाग निकल रही थी, और नेहा के चूतड़ों से हमारे सोफे पर गिर रही थी। अखिल ने नेहा की चूत से अपना लंड बाहर निकाल लिया, और उसकी झांटों और नेहा की फुद्दी पर रगड़ते हुए सीमन की पिचकारियां छोड़ने लगा। नेहा की चूत में से भी अखिल के सीमन की गाढ़ी लस्सी निकल रही थी।

अखिल ने मेरी तरफ देखा और कहा: भाई तेरी बीवी चोद कर मज़ा आ गया।

मैंने उसके लंड को पकड़ कर अपने मुंह में लेकर चूस लिया, और उसके लंड को चूस कर साफ़ कर दिया। फिर मैं अपनी वाइफ को नंगी देखने लगा। अखिल ने अपने कपड़े पहने और नेहा को एक किस देकर बाहर निकल गया। मैंने नेहा को एक बार फिर कुतिया बना कर उसके चूतड़ों में रगड़ते हुए अपना लंड उसकी गांड में घुसेड़ दिया।

इस बार मुझे नेहा की गांड चोदने में बहुत मज़े आ रहे थे, क्योंकि नेहा की आहें बहुत उत्तेजित कर रही थी। कुछ 10-15 मिनट तक नेहा को उसकी गांड में पूरी ताकत से चोदने में मज़ा लेकर मैंने अपना माल नेहा की गांड में ही भर दिया। लौड़ा उसके गांड में से बाहर निकाला तो नेहा आह आह करती हुई अपनी गांड में से मेरे माल को बाहर निकालने लगी।

अपनी गांड मे से मेरे माल को बाहर निकालते हुए नेहा को मैंने काउच पर अपनी गोद में बिठाया, और नेहा को खूब प्यार किया। मुझे यह ककोलडिंग हमेशा याद रहेगी।

 

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