मैं पहले अपने बारे में बता दूं। मैं हिंदी सेक्स कहानियां रोज पढ़ कर उंगली करती हूं। तो ऐसे ही स्टोरी पढ़ते-पढ़ते मन किया अपनी सच्ची घटना सुनाने का।
मैं अपने फिगर के बारे में बता दूं, तो में बहुत कामुक शरीर की लड़की हूं। मेरी उम्र 21 साल है। मेरा साइज 36-34-38 है। काफी भरे हुए बूब्स और उभरी हुई गांड है। कोई भी लड़का देखता है तो 2 मिनट तक देखता ही रहता है। मैं अब अपनी कहानी बताने जा रही हूं।
यह मेरे साथ 1 साल पहले हुआ, जब मैं कॉलेज में थी। तब मेरी ज्यादा किसी से बात-चीत नहीं होती थी। तो एक दिन मैं एक लड़के से टकराई। उसने सारी बोला, फिर थोड़ी-बहुत हेलो-हाय हुई। फिर हम अपने-अपने रास्ते चले गए। मैं कॉलेज की लाइब्रेरी में बैठी हुई थी। तभी अचानक वो मुझे दिखा। वो भी मुझे ही देख रहा है। तो वो मेरी डेस्क पर आ गया।
फिर हमने बातें की। साथ में पढ़ने लगे। क्लास के बाद उसके साथ घूमना पता नहीं कब चालू हुआ। धीरे-धीरे हम बहुत अच्छे दोस्त बन गए।
उसके बारे में बता दूं। उसकी हाइट 6’4″ है। जिम वाली बॉडी है। दिखने में बहुत ही ज्यादा अच्छा दिखता है। कोई भी लड़की उससे सेट हो जाए।
फिर एक दिन मेरी तबियत अचानक खराब हो गई, तो में हॉस्टल में थी। मैंने उसे कॉल करके बताया-
मैं: ऋषभ मेरी तबियत अचानक खराब हो गई है।
वो तुरंत कार लेके आया और मुझे डॉक्टर के पास ले गया। फिर जब हम लौट रहे थे, तब अचानक उसने कार की ब्रेक लगाई। इससे मैं आगे की तरफ गिरी, तो उसने बचाते हुए मेरी छाती के आगे हाथ कर दिया। मेरे बूब्स उसके हाथ से दब गए। मैंने पहले कभी उसे उस नज़र से नहीं देखा था। तब मेरे अंदर की वासना जाग गई, और उसके अंदर की भी। पर हमने तब एक उस चीज को नज़र अंदाज किया।
फिर गाड़ी का गियर बदलते-बदलते वो मेरे बूब्स को टच कर रहा था। कभी मेरी जांघो पर हाथ फेर रहा था। मेरे अंदर पहले ही बहुत तेज लंड लेने की इच्छा हो रही थी। वो मुझे और पागल करने लगा। मैंने भी सोचा क्यों ना मौके का फायदा उठाया जाए।
मैंने उसे रोका नहीं, और मैं भी उसकी जांघों पर हाथ ले गई। जैसे ही मेरा हाथ उसकी जांघों पर गया, वो समझ गया। फिर उसने गाड़ी रोकी, मुझे पकड़ा, और किस करने लगा। मैं भी उसका साथ दे रही थी। वो किस करते-करते कभी मेरे बूब्स दबा रहा था, कभी मेरी गांड। मैं पागलों की तरह उसको चूम रही थी, और उसको बालों में हाथ घुमा रही थी।
फिर ऋषभ बोला: वंशिका उठ कर आजा।
मैं उसके पास गई, तो उसने मुझे अपने उपर ही बिठा लिया। फिर हम किस करने लगे कभी एक-दूसरे के गाल पर तो कभी गाल काट रहे थे। कभी गर्दन तो कभी वो अपने हाथों से मेरे बूब्स दबा रहा था। मुझे बहुत अच्छा लग रहा था। बीच-बीच में वो मेरी गांड पर चांटे भी मार देता।
ऋषभ उठा कर मुझे पीछे वाली सीट पर ले गया, और उसने मुझे सीट पर लिटा दिया। फिर मेरी शर्ट फाड़ दी। मेरे बूब्स ब्लैक ब्रा में दिख रहे थे। आप ही सोचो 38″ साइज के व्हाइट बूब्स ब्लैक ब्रा में कैसे लगेंगे।
ऋषभ बोला: वंशिका पहले कभी वैसे क्यों नहीं देखा? क्या मजा मिलता रोज।
मैंने उसका मुंह खीच कर अपने बूब्स पर लगा दिया। मैं उसका मुंह बीच में रगड़ रही थी, और वो दोनों हाथों से मेरे बूब्स बहुत जोर-जोर से दबा रहा था। मुझे दर्द भी हो रहा था, पर मज़ा उससे ज्यादा आ रहा था। मेरे मुंह से बस “आह आह आह ऋषभ प्लीज़ थोड़ा आराम से करो” निकला। पर वो नहीं रुका। टाइट-टाइट बूब्स उसके हाथ में पड़ गए थे। अब कहां वो छोड़ने वाला था।
फिर उसने ब्रा में से बूब्स निकाले, और चूसने लगा एक-एक करके। मेरे मुंह से बस आह आह ऋषभ निकल रहा था। बीच-बीच में हम किस भी कर रहे थे। जब तक कोई पास से निकल गया, तो मैंने अपने कपड़े पहन लिए। उसने गाड़ी चालू कर दी।
पर अब तक मेरी चूत आग मच गई थी। मैं उसके लंड के लिए तड़प गई थी। उसका भी लंड बहुत टाइट हो रहा था। पेंट में से दिख रहा था। मेरे से रहा नहीं गया, और मैं अपना हाथ उसके लंड पर फेरने लगी। वो भी पागल हो रहा था। फिर मैंने उसकी पेंट को खोला, और पेंट में से लंड निकाला। मैं उसका लंड देखते ही डर गई, इतना मोटा और लंबा था। 7 इंच लंबा और 3 इंच मोटा होगा कम से कम।
निकाल कर पहले हाथ उस पर उपर-नीचे कर रही थी। फिर ऋषभ मुझे उसका लंड चूसने बोला। मैं कुछ बोलती उससे पहले ही उसने मेरा सिर पकड़ कर लंड पर ले गया। मैंने भी झट से मुंह में ले लिया। वो कार चला रहा था, और मैं उसका लंड चूसे जा रही थी।
उसकी भी आंखे बंद हो रही। उसके मुंह से भी आहें निकल रही थी। वो मेरे सिर को दबाए जा रहा था। मैंने उसका पूरा लंड मुंह में ले लिया था। मुझे तो उसका टेस्ट इतना अच्छा लगा था, कि आज भी उसका लंड सोचूं तो मुंह में टेस्ट याद आ जाता है।
फिर हम लोग एक फ्रेंड के रूम पर पहुंचे। वहां से वो लोग जा रहे थे। कोई नहीं था। हमने मौके का फायदा उठाया, और चले गए अंदर। मैं लेट गई थी जाके बेड पर। वो गेट लॉक करके जल्दी आया। आते ही उसने किस किया। हम एक-दूसरे के कपड़े उतरने लगे, एक-दूसरे के शरीर को चूमने लगे।
मेरी ब्रा भी उसने उतार दी थी, और मेरे बूब्स को मुंह में लेके चूसे जा रहा था। मैं सिर्फ पेंटी में थी। मैं अब लंड वापस चूसने लगी, और उसको अपनी गांड दिखा रही थी हिला-हिला के। वो बार-बार मेरी गांड पर मारता। कभी मेरी चूत में उंगली डालता। मैं और जोर-जोर से चूसने लगती।
फिर हम दोनो 69 पोजीशन में आ गये। उसने मुझे अपने उपर ले लिया। वो मेरी चूत चाट रहा था। मैं उसका लंड चूस रही थी। फिर उसने मुझे सीधा लिटाया, और मेरे ऊपर आ गया। आते ही किस करने लगा। पता नहीं कब उसने मेरी चूत में लंड डाल दिया। मेरे मुंह से बहुत तेज चीख निकली, पर वो किस करता रहा। मैं रोने लगी थी। वो धक्के नहीं दे रहा था।
जब मैंने रोना बंद किया, तो उसने धक्के देना चालू कर दिया। जोर-जोर से धक्के मारने लगा। मेरे मुंह से आह आह आह ऋषभ निकल रहा था। वो मेरे बूब्स चूसे जा रहा था और धक्के मार रहा था।
थोड़ी देर बाद हम शांत हो गए। फिर हम एक-दूसरे को किस्स करके सो गए। ऐसे ही मैं और ऋषभ हर रोज सेक्स करते। कभी-कभी तो दिन में 4 बार भी कर लेते थे। फिर तो एक-दूसरे को देखने से ही लस्ट जगने लगी थी। मुझे उसके लंड की इतनी आदत हो गई थी, कि अगर मैं सोचती भी उसके बारे में, तो उसका टेस्ट मुंह में आ जाता था। मेरी चुदाई कहानी कैसी लगी बताना ज़रूर।